Agnikul Cosmos Launch: विश्व का पहला 3D-प्रिंटेड रॉकेट इंजन!

Agnikul Cosmos Launch

30 May 2024 को अग्निकुल कॉसमॉस (Agnikul Cosmos) ने अपने अग्निबाण रॉकेट (Agnibaan Rocket) को सफलतापूर्वक लॉन्च करते हुए भारत के निजी अंतरिक्ष क्षेत्र में एक नया मील का पत्थर स्थापित किया है। यह उपलब्धि भारतीय स्पेस मिशन्स में एक नया अध्याय है।

Agnikul Cosmos चेन्नई बेस्ड एक भारतीय निजी अंतरिक्ष स्टार्टअप है, जिसने अपने अद्वितीय और परिवर्तनात्‍मक दृष्टिकोण के साथ अंतरिक्ष अभियानों में एक नया मापदंड स्थापित किया है। भारत ने पिछले कुछ वर्षों में अंतरिक्ष अनुसंधान और विकास के क्षेत्र में महत्वपूर्ण प्रगति की है, और अग्निकुल का यह प्रक्षेपण उसी दिशा में एक प्रभावी कदम है।

इस सफलता से पहले, 28 मई 2024 को, अग्निबाण के प्रक्षेपण के दो असफल प्रयास हुए थे। प्री-लॉन्च अनियमितताओं के कारण इन प्रयासों को स्थगित करना पड़ा, लेकिन इन चुनौतियों ने टीम को और अधिक मजबूत और तैयार बनाया।

ISRO ने Agnikul Cosmos को इस सफलता के लिए बधाई देते हुए X पर लिखा, “अग्निबाण SoRTed-01 मिशन के लॉन्च पैड से सफल प्रक्षेपण के लिए @AgnikulCosmos को बधाई। यह एक बड़ी उपलब्धि है, क्योंकि एडिटिव मैन्युफैक्चरिंग के माध्यम से पहली बार सेमी-क्रायोजेनिक लिक्विड इंजन की नियंत्रित उड़ान संभव हुई है।”

Innovation & Features:

Agnibaan Rocket ने थ्रस्ट वेक्टरिंग और गिम्बल मोटर्स की मदद से अपनी उड़ान को नियंत्रित किया। इससे रॉकेट की वर्टिकल वृद्धि को नियंत्रित करने में मदद मिलती है और यह भी सुनिश्चित होता है कि उड़ान संतुलित रहे। अग्निबाण रॉकेट ने आठ किलोमीटर की ऊंचाई तक उड़ान भरने के बाद बंगाल की खाड़ी में स्पलैशडाउन किया। हालांकि इस उड़ान में कोई पेलोड नहीं था, लेकिन इसने कई तकनीकी परीक्षणों को सफलतापूर्वक पूरा किया।

Agnibaan Rocket का मुख्य आकर्षण इसका अग्निलेट इंजन था, जो दुनिया का पहला सिंगल-यूनिट 3D प्रिंटेड इंजन है। आपको जानकार हैरानी होगी कि इस इंजन को केवल तीन दिनों में बनाया जा सकता है, जिससे विभिन्न स्थानों से ऑन-डिमांड लॉन्च करने में सहायता मिलेगी।

उड़ान के दौरान, अग्निबाण ने कंट्रोल सिस्टम, ऑटोपायलट, और एवियोनिक्स सिस्टम के परीक्षण किए। लगभग 70 सेकंड के बाद, रॉकेट ने अपनी ट्राजेक्टरी को बनाए रखते हुए इन प्रणालियों का सफलतापूर्वक परीक्षण किया।

अग्निकुल लॉन्च पैड 1 (ALP-1)

अग्निबाण रॉकेट का प्रक्षेपण श्रीहरिकोटा स्थित ISRO के स्पेसपोर्ट से अग्निकुल लॉन्च पैड 1 (ALP-1) से किया गया। इस लॉन्च पैड को विशेष रूप से निजी अंतरिक्ष कंपनियों के लिए विकसित किया गया है और यह ISRO के सहयोग का एक महत्वपूर्ण उदाहरण है।

Agnikul Cosmos Launch Agnibaan

प्रक्षेपण के बाद, पिचओवर और विंग बायसिंग जैसे कई तकनीकी ऑपरेशन पूरे किए गए। इन परीक्षणों के दौरान, रॉकेट अपनी अधिकतम ऊंचाई पर गया और फिर सुरक्षित रूप से बंगाल की खाड़ी में उतरा।

Agnibaan Rocket की सफलता के साथ, Agnikul Cosmos ने अंतरिक्ष नवाचार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बढ़ाया है। इस सफलता से भविष्य में कई और सफल प्रक्षेपणों की उम्मीद की जा सकती है, जो भारत के अंतरिक्ष अभियानों को नई ऊँचाइयों पर ले जाएंगे।

प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने इस सफलता के लिये X पर पोस्ट में लिखा “एक उल्लेखनीय उपलब्धि जो पूरे देश को गौरवान्वित करेगी! दुनिया के पहले सिंगल-पीस 3डी प्रिंटेड सेमी-क्रायोजेनिक इंजन द्वारा संचालित अग्निबाण रॉकेट का सफल प्रक्षेपण भारत के अंतरिक्ष क्षेत्र के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर है और हमारी युवा शक्ति की उल्लेखनीय सरलता का प्रमाण है।@AgnikulCosmos टीम को उनके भविष्य के प्रयासों के लिए मेरी शुभकामनाएँ।

इसरो और अग्निकुल के बीच सहयोग ने इस सफलता को संभव बनाया। दोनों संगठनों के साझा लक्ष्यों और दृष्टिकोण ने इस सफलता को हासिल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। यह उपलब्धि न केवल Agnikul Cosmos के लिए गर्व का विषय है, बल्कि पूरे भारत के लिए एक प्रेरणादायक घटना है। भविष्य में इस तरह की और भी सफलताओं की उम्मीद की जा सकती है।

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